Bihar के आरा रेलवे स्टेशन पर ट्रेन में लूट की घटना को अंजाम देने वाले आरोपी को जीआरपी (Government Railway Police) ने गिरफ्तार कर लिया है। आरोपी खुद को आरपीएफ (Railway Protection Force) स्टाफ बताकर मामा-भांजे से 8 हजार रुपये लूटने के बाद उन्हें बक्सर के पास चलती ट्रेन से धक्का दे दिया था। जीआरपी ने यूपीआई ट्रांजेक्शन की ट्रैकिंग कर आरोपी को पकड़ने में सफलता हासिल की है।
मामा-भांजे से लूट के बाद चलती ट्रेन से धक्का
यह घटना 19 सितंबर को मालदा टाउन-नई दिल्ली एक्सप्रेस में हुई थी, जब पीड़ित चंदन कुमार अपने भांजे अभिषेक के साथ दिल्ली जा रहे थे। आरा रेलवे स्टेशन पर आरोपी ने खुद को आरपीएफ स्टाफ बताकर टिकट चेकिंग के बहाने दोनों को दिव्यांग बोगी में चलने को कहा, जहां उसने मारपीट कर 8 हजार रुपये यूपीआई के जरिए ट्रांसफर कर लिए। इसके बाद बक्सर के पास दोनों को ट्रेन से धक्का दे दिया।
यूपीआई ट्रांजेक्शन से पकड़ा गया आरोपी
आरोपी की गिरफ्तारी उसके द्वारा की गई यूपीआई ट्रांजेक्शन की ट्रैकिंग से हुई। जीआरपी ने आरोपी को गिरफ्तार कर अदालत में पेश किया और उसे जेल भेज दिया गया। आरोपी की पहचान भोजपुर निवासी रोहित तिवारी के रूप में हुई है, जिसने पुलिस में भर्ती होने की असफलता के बाद सिक्योरिटी गार्ड का काम करना शुरू किया था।
पुलिस में भर्ती की असफलता के बाद अपराध की राह
Bihar: पुलिस की पूछताछ में आरोपी ने बताया कि वह पुलिस में भर्ती होना चाहता था, लेकिन सफल नहीं हो सका। इसके बाद उसने सिक्योरिटी गार्ड की नौकरी शुरू की, लेकिन जल्दी पैसा कमाने के चक्कर में अपराध करने लगा। आरोपी के पास से बिहार पुलिस का फर्जी आई कार्ड भी बरामद हुआ है, और इसके आपराधिक इतिहास में एक बाइक चोरी का मामला भी दर्ज है।