Mathura में Bangladesh में हिंदू समुदाय पर हो रहे अत्याचार के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया गया, जिसमें धर्म नगरी वृंदावन के साधु, संत, महात्मा, धर्माचार्य और ब्रजवासी शामिल हुए। बांग्लादेश में हाल ही में हुई तख्ता पलट की घटना के बाद हिंदू समुदाय पर हो रहे अत्याचार के विरोध में यह हिदुत्व एकता मार्च निकाला गया। प्रदर्शनकारियों ने भारी बारिश की परवाह किए बिना सड़कों पर उतरकर बांग्लादेशी हिंदुओं के समर्थन में अपनी आवाज उठाई और भारत सरकार से इस विषय में ठोस कदम उठाने की मांग की।
रंगनाथ मंदिर पर वृंदावन के साधु, संत, धर्माचार्य, भागवत प्रवक्ता, तीर्थ पुरोहित और व्यापारी एकत्रित हुए और यहां से बांग्लादेश में हो रही हिंसा के विरोध में पैदल मार्च शुरू किया। इस हिदुत्व एकता मार्च में ब्रजवासी हाथों में भगवा ध्वज लिए हुए नारे लगाते हुए चल रहे थे। यह पैदल मार्च रंगनाथ मंदिर से शुरू होकर नगर निगम चौराहे पर समाप्त हुआ।
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Mathura: प्रदर्शनकारियों का कहना था कि बांग्लादेश में हिंदू समुदाय अल्पसंख्यक होने के कारण बहुसंख्यक समाज उनके साथ मारपीट, लूटपाट और अत्याचार कर रहा है। लोगों ने भारत सरकार से अपील की कि बांग्लादेशी हिंदुओं की सुरक्षा के लिए ठोस कदम उठाए जाएं और उन्हें सहायता प्रदान की जाए। साथ ही, उन्होंने भारत के हिंदू समुदाय से भी जाग्रत होने और अपने अधिकारों के लिए आवाज उठाने का आह्वान किया।
साध्वी ऋतंभरा ने इस विरोध प्रदर्शन के दौरान अपनी चिंता और आक्रोश व्यक्त करते हुए कहा कि बांग्लादेश में हो रही घटनाओं से संत समाज में गहरा आक्रोश है। उन्होंने भारत के हिंदुओं को संबोधित करते हुए कहा कि यदि आप अपने ऊपर हो रहे अत्याचारों के खिलाफ आवाज नहीं उठाएंगे, तो आपके लिए कोई भी खड़ा नहीं होगा। साध्वी ने कहा कि अहिंसा का पाठ पढ़ते हुए हम यह भूल गए हैं कि हम ऐसे लोगों के बीच में हैं
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जो हमें नुकसान पहुंचा सकते हैं। उन्होंने यह भी कहा कि इससे पहले भी हमें कश्मीर के हिंदुओं पर हुए अत्याचारों की पीड़ा झेलनी पड़ी, जब हमने मौन धारण किया और परिणामस्वरूप वह क्षेत्र हिंदुओं से खाली करा दिया गया।
Mathura: इस प्रदर्शन ने बांग्लादेश में हो रहे हिंदू अत्याचारों पर वैश्विक ध्यान आकर्षित करने की कोशिश की और भारत सरकार से तत्काल कदम उठाने की मांग की। इस हिदुत्व एकता मार्च ने ब्रजवासियों के बीच एकजुटता का संदेश दिया और बांग्लादेशी हिंदुओं के प्रति अपनी सहानुभूति और समर्थन व्यक्त किया।
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