केंद्रीय मंत्री Nitin Gadkari ने पुणे टेक्नोलॉजिकल यूनिवर्सिटी (COEPTU) के पूर्व छात्र संघ द्वारा आयोजित ‘इंजीनियर्स डे’ समारोह में सरकारी विभागों में पारदर्शिता और समय पर निर्णय लेने की प्रक्रिया की आवश्यकता पर जोर दिया।
गडकरी ने इस दौरान भ्रष्ट अधिकारियों की तुलना न्यूटन के पिता से करते हुए बताया कि सरकारी सिस्टम में भ्रष्टाचार तब बढ़ता है जब फाइलों पर पैसे का वजन होता है।
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उन्होंने कहा कि नौकरशाहों को हर कार्य के लिए आदेश की जरूरत पड़ती है, यहां तक कि सड़कों पर गड्ढे भरने के लिए भी। गडकरी ने ‘लेटर’ और ‘भावना’ के बीच अंतर समझाते हुए कहा कि अगर कोई व्यक्ति कानून के पीछे की भावना को नहीं समझेगा, तो उसका कोई फायदा नहीं है। उन्होंने उदाहरण के तौर पर कहा कि कई बार पैसे की मदद से काम तेजी से शुरू होता है।
गडकरी ने कहा कि कुछ अधिकारी फाइलों को तीन महीने तक पेंडिंग रखते हैं, जबकि ईमानदार और मेहनती लोगों को पसंद किया जाता है जो काम को समय पर पूरा कर सकते हैं। उन्होंने इंजीनियरिंग, रिसर्च और टेक्नोलॉजी के महत्व को स्वीकार किया, लेकिन साथ ही पारदर्शिता और अच्छे प्रशासन की आवश्यकता पर भी जोर दिया।