UP: मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और समाजवादी पार्टी के नेता अखिलेश यादव के बीच हाल ही में बुलडोजर को लेकर तीखी बहस हुई है। इस विवाद ने राज्य की राजनीति में नया मोड़ ला दिया है।
अखिलेश यादव के बयान पर योगी आदित्यनाथ की प्रतिक्रिया
अखिलेश यादव ने हाल ही में कहा था कि यदि समाजवादी पार्टी 2027 में सत्ता में आई, तो राज्य के सभी बुलडोजर गोरखपुर की ओर भेजे जाएंगे, जो कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का गृह क्षेत्र है। यादव का यह बयान सुप्रीम कोर्ट द्वारा बुलडोजर के इस्तेमाल पर उठाए गए सवालों के संदर्भ में था।
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सीएम योगी आदित्यनाथ ने इस पर तीखी प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा कि जो लोग पहले दंगाइयों के सामने झुके थे, वे अब बुलडोजर के शासन को सही तरीके से लागू नहीं कर सकते। उन्होंने यादव की टिप्पणियों को उनकी नाकामियत की ओर इशारा करते हुए कहा कि उनका बर्ताव दर्शाता है कि वे प्रभावी ढंग से काम नहीं कर सकते।
योगी आदित्यनाथ की आलोचना और उनकी सरकार की उपलब्धियां
योगी आदित्यनाथ ने पूर्व सरकार पर भ्रष्टाचार और दंगों के आरोप लगाए। उन्होंने यह भी कहा कि उनकी सरकार के तहत हर युवक को समान अवसर मिल रहे हैं और ईमानदारी से काम किया जा रहा है। उन्होंने यह भी कहा कि उनकी सरकार ने नियुक्तियों में पूरी पारदर्शिता सुनिश्चित की है और कोई जातिवादी या क्षेत्रीय भेदभाव नहीं किया गया है।
सुप्रीम कोर्ट की चिंता और वर्तमान सरकार की आलोचना
सुप्रीम कोर्ट ने हाल ही में बुलडोजर के इस्तेमाल पर चिंता जताई थी, खासकर उन मामलों में जहां केवल आरोपों के आधार पर संपत्तियों को ढहा दिया गया था। कोर्ट ने कहा कि भले ही कोई दोषी हो, उनके घर को दंड के रूप में नष्ट नहीं किया जाना चाहिए। इस मुद्दे पर बहस ने राज्य भर में चर्चा को जन्म दिया है।
अखिलेश यादव और योगी आदित्यनाथ के बीच यह विवाद आगामी चुनावों के लिए दोनों नेताओं के राजनीतिक दृष्टिकोण को उजागर करता है और यह दिखाता है कि बुलडोजर का मुद्दा यूपी की राजनीति में महत्वपूर्ण बना हुआ है।